‘खटलम, मच्छर कह रहे भारत में बांग्लादेश जैसे हालात होंगे’, विजयवर्गीय का बड़े कांग्रेस नेता पर निशाना

इंदौर

मध्य प्रदेश के कैबिनेट मंत्री कैलाश विजयवर्गीय ने इशारों-इशारों में कांग्रेस नेता और पूर्व मंत्री सज्जन सिंह वर्मा पर बड़ा निशाना साधा है। विजयवर्गीय ने कहा कि 'कुछ खटमल और मच्छर कह रहे हैं कि भारत में भी बांग्लादेश जैसे हालात हो जाएंगे।' उनके इस बयान को सज्जन सिंह के उस बयान का जवाब माना जा रहा है, जिसमें कांग्रेस नेता ने कहा था, कि भारत में भी लोग एक दिन प्रधानमंत्री के सरकारी आवास पर धावा बोल देंगे और उस पर कब्जा कर लेंगे।

विजयवर्गीय ने सज्जन पर पलटवार करते हुए कहाा कि 'यह शेर और शेरनियों का देश है, यहां बांग्लादेश जैसे हालात कभी नहीं हो सकते, पता नहीं इन खटमलों और मच्छरों को कब अक्ल आएगी।' विजयवर्गीय का यह बयान बुधवार का बताया जा रहा है जब वे स्वतंत्रता दिवस की पूर्व संध्या पर आयोजित कार्यक्रम में हिस्सा लेने पहुंचे थे और जहां उन्होंने देशभक्ति गीत गाकर लोगों में जोश भरा था।
सज्जन सिंह ने भी दिया मच्छर-मक्खी का जवाब

विजयवर्गीय की मच्छर-मक्खी वाली टिप्पणी के जवाब में सज्जन सिंह वर्मा ने कहा कि 'मैं उनको थोड़ा गंभीर और समझदार आदमी समझता था, लेकिन वो कितने समझदार हैं, यह मुझे समझ में आ गया है। कांग्रेसियों को मक्खी और मच्छर बोल रहे हैं।'

इसके बाद कांग्रेस नेता ने फिल्म क्रांतिवीर का एक डायलॉग याद दिलाते हुए कहा कि 'भूल गए कि एक मच्छर आदमी को क्या बना देता है। आप भाजपा और हम कांग्रेस में हैं, इसलिए अच्छा संवाद करो।' साथ ही सज्जन सिंह ने यह भी कहा कि 'कोरोना के बाद हम सब बुजुर्ग नेता बोनस की जिंदगी जी रहे हैं और बुढ़ापे में इस तरह जुबान खराब नहीं करना चाहिए।'
सज्जन ने कही थी बांग्लादेश जैसे हालात वाली बात

इससे पहले 6 अगस्त को कांग्रेस नेता सज्जन सिंह वर्मा ने इंदौर में कांग्रेस के एक विरोध प्रदर्शन के दौरान कहा था कि 'बांग्लादेश सरकार की गलत नीतियों की वजह से वहां की जनता पीएम और राष्ट्रपति भवन में घुस गई और वहां कब्जा कर लिया। याद रखना (प्रधानमंत्री) नरेन्द्र मोदी जी आपकी गलत नीतियों की वजह से देश की जनता एक दिन आपके प्रधानमंत्री आवास में घुस जाएगी और उस पर (प्रधानमंत्री आवास पर) कब्जा कर लेगी। हाल में (2022 में) श्रीलंका में ऐसा हुआ, जहां लोग प्रधानमंत्री (राष्ट्रपति) के आवास में घुस गए थे और फिर बांग्लादेश में ऐसा हुआ और अब भारत की बारी है।'

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