पटना
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बड़ी कार्रवाई करते हुए लालू प्रसाद यादव के करीबी राजद के पूर्व विधायक अरुण यादव से जुड़ी 21 करोड़ 38 लाख की संपत्ति जब्त कर ली है। यह संपत्तियां अरुण यादव के अलावा उनकी पत्नी वर्तमान संदेश विधायक किरण देवी, उनके दोनों बेटे राजेश कुमार और दीपू सिंह और उनकी कंपनी मेसर्स किरण दुर्गा कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड के नाम पर ली गई हैं।
इनमें 19.32 करोड़ की 46 अचल संपत्तियां और बैंक खाते में करीब दो करोड़ पांच लाख की राशि शामिल हैं। अचल संपत्तियां भोजपुर जिले के अगियांव गांव और पटना के पाश इलाके में हैं। ईडी ने यह कार्रवाई बालू के अवैध खनन और मनी लांड्रिंग मामले में की है। बिहार पुलिस ने अरुण यादव के विरुद्ध अवैध बालू खनन, जमीन की बिक्री और आर्म्स एक्ट जैसी कई गंभीर धाराओं में सबसे पहले प्राथमिकी दर्ज की थी। इसी मामले की जांच के दौरान मनी लॉन्ड्रिंग आदि की बात सामने आई। ईडी ने इसी साल फरवरी में धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) के तहत मामला दर्ज कर अरुण यादव और किरण देवी के ठिकानों पर छापेमारी की थी। ईडी की अबतक की जांच में अरुण यादव के स्वजनों और कंपनी के नाम पर करीब 39.31 करोड़ की अकूत संपत्ति की जानकारी मिली है, जो उनकी वैध आय से काफी अधिक है। जांच में यह भी पता चला है कि अरुण यादव ने आपराधिक कृत्य और अपने पद का दुरुपयोग कर अवैध संपत्ति अर्जित की है।
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दानापुर में खरीदे चार फ्लैट, पाटलिपुत्र में व्यावसायिक जमीन:
ईडी की जांच में अरुण यादव और उनके परिजनों के नाम पर बड़ी संपत्ति अर्जित करने की जानकारी मिली है। यह संपत्तियां वर्ष 2014-15 से लेकर 2022-23 तक खरीदी गई हैं। ईडी के अनुसार, अरुण यादव और उनके परिजनों ने 40 कट्ठा कृषि भूमि खरीदी। इसके लिए करीब तीन करोड़ चार लाख रुपये कैश के रूप में दिए गए। इसके अलावा, दानापुर में पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी के मरचिया देवी काम्प्लेक्स में दो करोड़ 56 लाख रुपये से चार फ्लैट खरीदे गए। पटना के पाटलिपुत्र कालोनी में तीन करोड़ 44 लाख से व्यावसायिक जमीन भी खरीदी गई। अरुण यादव ने भोजपुर के अगियांव गांव में महल की तरह भव्य आवास बनाया है। ईडी के अनुसार, इस पैतृक आवास की कीमत 11 करोड़ से अधिक है। ईडी के अनुसार अरुण यादव औरंगाबाद और रोहतास जिले में बालू के अवैध खनन से जुड़े सिंडिकेट का सदस्य है।
कंस्ट्रक्शन कंपनी और निजी खातों में 20 करोड़ से अधिक की राशि:
ईडी की जांच में अरुण यादव और उनके परिजनों के खाते में 20 करोड़ से अधिक नकद जमा भी पाया गया है। इसमें अरुण यादव और परिजनों के खाते में 8.18 करोड़ जबकि किरण दुर्गा कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड के खाते में 11.80 करोड़ रुपये पाए गए हैं। ईउी के अनुसार, अरुण यादव ने अपनी कंपनी किरण दुर्गा कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड के नाम का दुरुपयोग कर धन शोधन का काम किया गया है।