एक फरवरी से अक्टूबर 25 तक दर्शकों के लिए रात 8 बजे तक खुला रहेगा जनजातीय संग्रहालय
भोपाल मध्यप्रदेश की सभी जनजातियों के जीवन, रहन-सहन, देशज ज्ञान, कला परम्परा और सौन्दर्यबोध की विशिष्टता को स्थापित करने का कार्य जनजातीय संग्रहालय, भोपाल में किया गया है। यहां जनजातियों की बहुरंगी एवं बहुआयामी देशज संस्कृति को बेहतरीन स्वरूप में संयोजित किया गया है। जनजातीय संग्रहालय के निदेशक ने बताया कि हर साल संग्रहालय में…